Tuesday 26 April 2016

माँ की लोरी

 

माँ की लोरी



मेरी माँ फिर से आज सुना दो वो मीठी मीठी लोरी,
जिसको सुनकर मैं सो जाऊँ,
अपने बचपन में खो जाऊँ,...

तेरे आँचल की छाँव में ममता का मैं हर सुख पाऊँ।
मेरी माँ फिर से आज सुना दो वो मीठी मीठी लोरी।
तेरी गोदी में सिर रखकर, चैन की नींद मै पाऊँ,
दुनिया की हर चिंताओं को पल में भूल मैं जाऊँ,
तेरे मातृत्व की छाया में सारी खुशियाँ मै पाऊँ।
मेरी माँ फिर से आज सुना दो वो मीठी मीठी लोरी।
जिसकी मीठी तान को सुनकर सपनो मे खो जाऊँ।
स्वप्न लोक में जाकर परियों से मिल आऊँ।
उनसे माँ की लोरी नितरोज सुनने का आशीर्वाद मै पाऊँ।
मेरी माँ फिर से आज सुना दो वो मीठी मीठी लोरी।


By:Dr Swati Gupta

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